जिंदगी की खूबसूरती से रूबरू होगा राधेश्याम: 10 सालों से मानसिक विमंदित युवक का किया रेस्क्यू,बदली जिंदगी
ललित चावला बिजौलिया | 19 Oct 2025
बिजौलिया। जिंदगी सचमुच खूबसूरत है,अगर उसे समझदारी और संवेदनशीलता से जिया जाए। लेकिन कभी-कभी वक्त और हालात इंसान को ऐसे मोड़ पर लाकर खड़ा कर देते हैं,जहां से लौटना आसान नहीं होता। ऐसे में अगर कोई मदद का हाथ बढ़ा दे,तो वही हाथ किसी के लिए नई जिंदगी की शुरुआत बन जाता है।
बिजौलिया कस्बे में पिछले दस सालों से अर्धविक्षिप्त और अर्धनग्न अवस्था में सड़कों पर भटकते राधेश्याम भील के जीवन में भी कुछ ऐसा ही बदलाव आया है। वर्षों से समाज की भीड़ में गुम यह युवक अब एक नई सुबह देखने जा रहा है और इस परिवर्तन के पीछे हैं बिजौलिया के दो युवा सार्थक विजयवर्गीय और आदित्य गौड़,जिन्होंने मानवीय संवेदना की मिसाल पेश की है।
इन दोनों युवाओं ने अपने स्तर पर निष्काम गौ सेवा तंत्र गौ चिकित्सालय टीम की अगुवाई में राधेश्याम की मदद का बीड़ा उठाया। उन्होंने सोशल मीडिया आश्रम,सांवर देवली के संचालक राज भाई रेस्क्यूअर से संपर्क कर पूरी जानकारी साझा की और मदद की अपील की। आश्रम की टीम ने आवश्यक प्रक्रिया पूरी करते हुए आज विन्ध्यवासिनी माता मंदिर परिसर,बिजौलिया से राधेश्याम को सुरक्षित रेस्क्यू किया।
रेस्क्यू के बाद जब राधेश्याम को बरसों बाद नहलाया धुलाया गया, साफ कपड़े पहनाए गए और उन्हें गरम भोजन कराया गया तो उनके चेहरे पर पहली बार सुकून और अपनापन की चमक दिखाई दी। जो व्यक्ति कभी खुद से और समाज से दूर हो गया था,अब उसे फिर से जीवन का अर्थ समझने का अवसर मिला है।राधेश्याम अब आश्रम में सुरक्षित हैं और विशेषज्ञों की देखरेख में उनका उपचार चल रहा है।